गोवर्धन पूजा से होगी शुरुआत पैरादान महाअभियान : पशुओं के लिए सबसे ज्यादा पैरा देने वाली तीन पंचायतें होंगी सम्मानित- पैरा हे अनमोल राखव एकर मोल पैरा दान करे गोधन को सहेजे
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गोवर्धन पूजा से होगी शुरुआत पैरादान महाअभियान : पशुओं के लिए सबसे ज्यादा पैरा देने वाली तीन पंचायतें होंगी सम्मानित- पैरा हे अनमोल राखव एकर मोल पैरा दान करे गोधन को सहेजे
भुवन वर्मा बिलासपुर 4 नवंबर 2021
दुर्ग । गोबर खरीदने के बाद अब दुर्ग जिला प्रशासन ग्राम पंचायतों के माध्यम से पैरादान करवाएगा। इसके लिए गोवर्धन पूजा के दिन से जिले की सभी ग्राम पंचायतों में ‘पैरादान महा अभियान” की शुरुआत की जा रही है। कलेक्टर ने इसकी जिम्मेदारी सभी ग्राम पंचायतों को दी है और कहा है कि सबसे अधिक पैरादान कराने वाली तीन पंचायतों का जिला प्रशासन की ओर से सम्मान किया जाएगा।
धान से प्राप्त पैरे को पशुधन के लिए चारे के के रूप में हमेशा उपयोग किया जाता रहा है। रही बात पैरादान की तो यह परंपरा भी ग्रामीण अंचल में काफी समय प्रचलन में रही है। पहले पैरादान कृषक व्यक्तिगत स्तर पर किया जाता था अब वर्तमान में यह पंचायत के स्तर पर किया जाएगा। इसी को देखते हुए दुर्ग जिले में भी गौठान दिवस से “पैरादान महा अभियान” कि शुरूआत की जा रही है। इस बार जनपद से सर्वाधिक पैरा संग्रहण करने वाले तीन पंचायतों को जिला प्रशासन द्वारा पुरस्कृत किया जाएगा। ग्राम पंचायत को यह जिम्मेदारी इसलिए सौंपी गई है ताकि पैरादान में कृषक भाइयों का योगदान ज्यादा से ज्यादा हो। कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेन्द्र भुरे के द्वारा ग्रामीणों से अपील की गई है कि ज्यादा से ज्यादा संख्या में इस अभियान के लिए भागीदार बने। उन्होंने कहा कि पैरा चारे के रूप में पशुओं के लिए सबसे उपयुक्त आहार में से एक पैरादान के माध्यम से आप गोधन को है। सहेजने में भी अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं।
पराली जलाने से मिलेगी निजात कई राज्यों सहित छत्तीसगढ़ के कई जिलों में किसान खरीफ की फसल के बाद रबी की फसल के लिए पराली को जलाने के लिए पैरे का इस्तेमाल करता है। इससे पर्यावरण को नुकसान पहुंचता है।
इस दिशा में प्रदेश के किसान भी अपना कदम आगे न बढ़ाये इसलिए शासन और प्रशासन के द्वारा “पैरादान महा अभियान” की शुरूआत की गई है। इसके लिए सभी पंचायत से पैरा संग्रहण की जानकारी मंगाई गई है। जिसके आधार पर पंचायतों को सम्मानित किया जा सके।