केन्द्र और राज्य के समन्वित प्रयास से सफलता निश्चित – पीएम मोदी
केन्द्र और राज्य के समन्वित प्रयास से सफलता निश्चित – पीएम मोदी
भुवन वर्मा बिलासपुर 20 फ़रवरी 2021
अरविन्द तिवारी की रिपोर्ट
नई दिल्ली – नरेंद्र मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये नीति आयोग की छठवीं गवर्निंग काऊंसिल की बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में पीएम मोदी सभी राज्यों व केन्द्र शासित प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों के साथ कृषि, बुनियादी ढांचे, इंफ्रास्ट्रक्चर, मैन्युफ्रैक्चरिंग, मानव संसाधन विकास, जमीनी स्तर पर सेवा वितरण और स्वास्थ्य और पोषण जैसे मुद्दों पर विचार-विमर्श की। बैठक को संबोधित करते हुये प्रधानमंत्री ने कहा कि आज जब देश अपनी आजादी के 75 वर्ष पूरे करने वाला है तब गवर्निंग काउंसिल की बैठक और महत्वपूर्ण हो गई है। उन्होंने राज्यों से आग्रह करूंगा कि आजादी के 75 वर्ष के लिये अपने-अपने राज्यों में समाज के सभी लोगों को जोड़कर समितियों का निर्माण हो। इस दौरान पीएम ने कोरोना काल के दौरान देश में आये बदलावों का जिक्र किया , साथ ही उन्होंने कहा कि देश अब विकास का इंतजार नहीं कर सकता, मिलकर काम करने से ही सफलता मिलेगी। उन्होंने कोरोना काल के दौरान देश में आये बदलावों का जिक्र करते हुये कहा, ‘हमने कोरोना कालखंड में देखा है कि कैसे जब राज्य और केंद्र सरकार ने मिलकर काम किया , देश सफल हुआ। दुनियां में भी भारत की एक अच्छी छवि का निर्माण हुआ , गरीबों के जीवनस्तर में बदलाव नजर आया। हम ये भी देख रहे हैं कि कैसे देश का प्राइवेट सेक्टर , देश की इस विकास यात्रा में और ज्यादा उत्साह से आगे आ रहा है। सरकार के नाते हमें इस उत्साह का , प्राइवेट सेक्टर की ऊर्जा का सम्मान भी करना है और उसे आत्मनिर्भर भारत अभियान में उतना ही अवसर भी देना है। भारत के विकास की नींव यह है कि केंद्र और राज्य एक साथ काम करते हैं और एक निश्चित दिशा की ओर बढ़ते हैं और सहकारी संघवाद को और अधिक सार्थक बनाते हैं। इससे विश्व स्तर पर देश की सकारात्मक छबि बनी है। उन्होंने कहा कि हमें न केवल राज्यों बल्कि जिलों में भी प्रतिस्पर्धी, सहकारी संघवाद लाने की कोशिश करनी होगी। पीएम मोदी ने किसान आंदोलन का जिक्र करते हुये उन्होंने कहा कि किसानों को थोड़ा गाइड करने की जरूरत है। प्रधानमंत्री ने कहा वर्ष 2014 के बाद से गांव और शहरों को मिलाकर 02 करोड़ 40 लाख से ज्यादा घरों का निर्माण किया गया है। देश के 06 शहरों में आधुनिक तकनीक से घर बनाने का एक अभियान चल रहा है। एक महीने में नई तकनीक से अच्छे घर बनाने के नये मॉडल तैयार हों। पानी की कमी और प्रदूषित पानी से होने वाली बीमारी लोगों के विकास में बाधा ना बने इस दिशा में मिशन मोड में काम हो रहा है। जल मिशन के बाद से साढ़े तीन करोड़ से भी अधिक ग्रामीण घरों को पाइप वाटर सप्लाई से जोड़ा जा चुका है। उन्होंने आगे कहा, ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान, एक ऐसे भारत का निर्माण का मार्ग है जो ना केवल अपनी आवश्यकताओं के लिये बल्कि विश्व के लिये भी उत्पादन करे और ये उत्पादन विश्व श्रेष्ठता की कसौटी पर भी खरा उतरे। केंद्र सरकार ने विभिन्न सेक्टर्स के लिये पीएलआई स्कीम शुरू की है। ये देश में मैन्यूफैक्चरिंग बढ़ाने का बेहतरीन अवसर है। राज्यों को भी इस स्कीम का पूरा लाभ लेते हुये अपने यहां ज्यादा से ज्यादा निवेश आकर्षित करना चाहिये।
दो राज्यों को दी शुभकामनायें
बैठक से पहले पीएम मोदी ने अरुणाचल प्रदेश और मिजोरम के लोगों को राज्य स्थापना दिवस की शुभकामनायें दीं। उन्होंने उनकी संस्कृति और परंपराओं की सराहना भी की। बताते चलें 21 फरवरी 1987 को दो नये राज्य मिजोरम और अरुणाचल प्रदेश का अस्तित्व सामने आया था। ये दोनों भारत के 23वें और 24वें राज्य बने थे।
उत्पादन बढ़ाने की जरूरत – केजरीवाल
बैठक में शामिल हुये दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि पिछले 70 वर्षों में हमने उत्पादन पर ध्यान नहीं दिया है। जिस तरह से चीनी उत्पाद भारतीय उत्पादों का स्थान ले रहे हैं, यह बहुत जरूरी हो जाता है कि हम आक्रामक तरीके से उत्पादन बढ़ाये। उन्होंने कहा कि अगर केंद्र और राज्यों की सरकारों उत्पादन केंद्र स्थापित करें और उत्पादकों, खासकर मध्यम और छोटे उद्योगों को टैक्स में छूट के साथ जरूरी सुविधायें प्रदान करें तो वो चीन से भी सस्ते उत्पाद बना सकते हैं। इससे नौकरियां भी बढ़ेंगी और हम उत्पादन के मामले में चीन से आगे निकल जायेंगे।
बर्मी कंपोस्ट को मिले सब्सिडी – बघेल
बैठक में शामिल हुये छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश में उद्योगों, कृषि क्षेत्र के विकास, अधोसंरचना विकास, बस्तर अंचल में सिंचाई सुविधा बढ़ाने, नक्सल प्रभावित क्षेत्रों के विकास जैसे राज्य हित के अनेक विषयों पर राज्य सरकार की योजनाओं एवं नीतियों की जानकारी देते हुए छत्तीसगढ़ को अतिरिक्त आर्थिक संसाधन उपलब्ध कराने का आग्रह किया। सीएम बघेल ने छत्तीसगढ़ के आकांक्षी जिलों द्वारा विकास के सभी मापदण्डों पर किये गये उत्कृष्ट प्रदर्शन का उल्लेख करते हुये सुझाव दिया कि आकांक्षी जिलों की अवधारणा में सांस्कृतिक उत्थान के बिन्दु को भी यथोचित महत्व एवं स्थान दिया जाना चाहिये। मुख्यमंत्री बघेल ने वर्मी कम्पोस्ट खाद में भी रासायनिक उर्वरकों की भांति सबसिडी दिये जाने का सुझाव रखा।
इन मुख्यमंत्रियों ने लिया हिस्सा
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान , हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल , बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार , महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल , छत्तीसगढ़ मुख्यमंत्री भूपेश बघेल समेत अन्य मुख्यमंत्रियों ने नीति आयोग की गवर्निंग काउंसिल की छठवीं बैठक में हिस्सा लिया। जबकि इस बैठक में पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी शामिल नहीं हुईं।