कोरोना आपदा को अवसर में बदलना सीखना है तो आपको रामकृष्ण हॉस्पिटल रायपुर आना होगा : जान की कीमत पर लूट का खेल जोरो पर

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कोरोना आपदा को अवसर में बदलना सीखना है तो आपको रामकृष्ण हॉस्पिटल रायपुर आना होगा : जान की कीमत पर लूट का खेल जोरो पर

भुवन वर्मा बिलासपुर 2 सितंबर 2020

रायपुर / बिलासपुर । वैश्विक महामारी कोरोना को आज भारत देश सहित विश्व भयावह आपदा माना है। वही आपदा को अवसर में बदलना सीखना है, तो प्राइवेट कोविड- अस्पतालों के हकीकत का एक बार जायजा ले सकते हैं । देश सहित पूरे प्रदेश में आज कोरोनावायरस अपने चपेट में ले चुकी है । ऐसे में कोरोना के आड़ में कैसे पॉजिटिव मरीज व परिजनों को लूटा जाता है । ये आप राजधानी रायपुर के नाम चीन अस्पतालों में देख सकते हैं ।उधर केंद्र सरकार ने बीमा कंपनियों को खासकर हेल्थ इंश्योरेंस के क्षेत्र में सभी बीमा धारकों को कॉविड सुविधा मुहैया कराने की बात कही है । हेल्थ इंश्योरेंस कंपनियां सुविधा मुहैया करा भी रही है ।

इधर रायपुर के रामकृष्ण हॉस्पिटल ,सी नारायणा, अपोलो हॉस्पिटल कोरोनावायरस से संक्रमित को कैशलैस हेल्थ इंश्योरेंस की सुविधा मुहैया नही दे रही है । लोगो के पास कैशलैस हेल्थ इंश्योरेंस होने के बावजूद उनसे नगद राशि जमा करने की बात कही जाती है । कैशलैस हेल्थ कार्ड से कोरोना का उपचार नहीं किया जा रहा है ।परिजन बेबस लाचार है पीपीई किट का ही एक दिन में दो से तीन बार 900 से 12 सौ तक के चार्ज मरीजो से लिया जाता है । रायपुर के लगभग सभी बड़े कोविड हॉस्पिटल इस आपदा को अवसर में बदलने में सबसे अग्रणी हैं ।

हेल्थ इंश्योरेंस से उपचार न करने की सबसे बड़ी वजह उन्हें अनाप-शनाप बिल राशि वसूलते नहीं बनेगा ।आज छत्तीसगढ़ के एक ग्रामीण महिला रामकृष्ण हॉस्पिटल रायपुर में अपने पति के कोरोना उपचार के दौरान उनसे की गई वसूली की दास्तां सुना रही थी । यह बात किसी एक महिला की दास्तां की नही है। पूरा प्रदेश के सभी प्राइवेट कोविड हॉस्पिटल एक ही ठर्रे में कोरोना का इलाज चल रहा है ।आमजन बेहतर उपचार के चक्कर में फंसे हैं , सरकार भी खामोश बैठी हुई है । सरकारी अस्पताल पैक हैं और वहां कोरोना मरीज भगवान भरोसे हैं ।कोई पूछने वाला भी नहीं है मारो तो या जियो तो अपनी बला से,,,।

बिलासपुर में तो हद ही हो गई यहां के कोविड- हॉस्पिटल में मृत व्यक्ति की शव को किसी अन्य परिजन को दे दी गई और वे परिजन क्रिया कर्म भी कर दिए।

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